-बरसात के मौसम में दूषित पानी पीने हेतु हैं मजबूर
भिवंडी। एम हुसेन ।भिवंडी तालुुका के लोनाड ग्रुपग्रामपंचायत के चौधरपाड़ा स्थित बापदेवपाड़ा में पेयजल की भारी किल्लत बनी हुई हैै। यहां के लोग पूर्व 20 वर्षों से पानी की किल्लत का सामना कर रहे हैं, पीने के पानी के लिये यहां की महिलाओं को पाड़े के पास स्थित गड्ढे से दूषित पानी लाना पड़ता है। बरसात के मौसम में यहां के लोगों का गड्ढे का दूषित पानी पीना नसीब बन गया है। बापदेवपाड़ा की इस पेयजल समस्या को लेकर श्रमजीवी संगठन ने ग्राम पंचायत एवं भिवंडी पंचायत समिति के गटविकास अधिकारी को एक ज्ञापन देकर पानी की किल्लत को दूर करने की मांग की है।
उल्लेखनीय है कि पूर्व 20 वर्षों से पेयजल की किल्लत का सामना कर रही यहां की महिलाओं ने श्रमजीवी संगठन के नेतृत्व में सरपंच एवं ग्राम विकास अधिकारी का घेराव करके तत्काल पेयजल उपलब्ध कराने की मांग की थी। महिलाओं के इस आंदोलन को गंभीरता से लेते हुये गटविकास अधिकारी ने जलापूर्ति विभाग के शाखा अभियंता सुदेश भास्कर को जांचकर रिपोर्ट प्रस्तुत करने काआदेश दिया था, जलापूर्ति विभाग के अभियंता सुदेश भास्कर द्वारा रिपोर्ट देने के बाद बापदेवपाड़ा में तत्काल बोरिंग कर दी गई थी, लेकिन बोरिंग होने के दो महीना बीत जाने के बाद भी न तो वहां हैंडपंप लगाया गया और न ही पानी की टंकी आदि बनाई गई जिसके कारण बोरिंग होने के बाद भी वहां के लोग गड्ढे का दूषित पानी पीने के लिये मजबूर हो गये हैं, बापदेवपाड़ा के पेयजल की किल्लत को दूर करने के लिये स्थानीय विधायक शांताराम मोरे की उपस्थिति में श्रमजीवी संगठन की हुई एक सभा में पंचायत समिति के अधिकारियों ने पेयजल के संकट को समाप्त करने का आश्वासन दिया था। लेकिन उस आश्वासन के बाद भी वहां के लोगों को गड्ढे का ही दूषित पानी पीने के लिये मिल रहा है।
गौरतलब हो कि भिवंडी पंचायत समिति के जलापूर्ति विभाग के अधिकारियों ने तालुका को पानी की किल्लत से मुक्त होने की रिपोर्ट सरकार को दिया है। जबकि जलापूर्ति विभाग की इस झूठी रिपोर्ट की पोल बापदेवपाड़ा ने खोल दिया है जिसके कारण जलापूर्ति विभाग के कार्यक्षमता पर सवालिया निशान लग गया है। श्रमजीवी संगठन की डॉ. स्वाती खान ने स्थानीय विधायक शांताराम मोरे,तहसीलदार शशिकांत गायकवाड़ एवं पंचायत समिति की सभापति रवीना जाधव की पेयजल से संबंधित निर्देशों को नजरअंदाज करने वाले जलापूर्ति विभाग के अधिकारियों के विरुद्ध कार्रवाई करने की मांग जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी हीरालाल जायसवाल से की है। श्रमजीवी संगठन के जिलाध्यक्ष अशोक साप्टे ने बताया कि पंचायत समिति के जलापूर्ति विभाग द्वारा इसी प्रकार विभिन्न क्षेत्रों में बोरिंग करने के बाद वहां हैंडपंप आदि नहीं लगाये गये हैं यदि वहां हैंडपंप नहीं लगाया जाता है तो तीव्र जनांदोलन किया जाएगा।
उक्त संदर्भ में गट विकास अधिकारी, पंचायत समिति, भिवंडी अशोक सोनटक्के ने बताया कि
बापदेवपाड़ा की पेयजल किल्ल्त को दूर करने का आदेश जलापूर्ति विभाग को दिया गया है आशा है कि जल्द ही वहां के पेयजल की समस्या दूर हो जाएगी।
भिवंडी। एम हुसेन ।भिवंडी तालुुका के लोनाड ग्रुपग्रामपंचायत के चौधरपाड़ा स्थित बापदेवपाड़ा में पेयजल की भारी किल्लत बनी हुई हैै। यहां के लोग पूर्व 20 वर्षों से पानी की किल्लत का सामना कर रहे हैं, पीने के पानी के लिये यहां की महिलाओं को पाड़े के पास स्थित गड्ढे से दूषित पानी लाना पड़ता है। बरसात के मौसम में यहां के लोगों का गड्ढे का दूषित पानी पीना नसीब बन गया है। बापदेवपाड़ा की इस पेयजल समस्या को लेकर श्रमजीवी संगठन ने ग्राम पंचायत एवं भिवंडी पंचायत समिति के गटविकास अधिकारी को एक ज्ञापन देकर पानी की किल्लत को दूर करने की मांग की है।
उल्लेखनीय है कि पूर्व 20 वर्षों से पेयजल की किल्लत का सामना कर रही यहां की महिलाओं ने श्रमजीवी संगठन के नेतृत्व में सरपंच एवं ग्राम विकास अधिकारी का घेराव करके तत्काल पेयजल उपलब्ध कराने की मांग की थी। महिलाओं के इस आंदोलन को गंभीरता से लेते हुये गटविकास अधिकारी ने जलापूर्ति विभाग के शाखा अभियंता सुदेश भास्कर को जांचकर रिपोर्ट प्रस्तुत करने काआदेश दिया था, जलापूर्ति विभाग के अभियंता सुदेश भास्कर द्वारा रिपोर्ट देने के बाद बापदेवपाड़ा में तत्काल बोरिंग कर दी गई थी, लेकिन बोरिंग होने के दो महीना बीत जाने के बाद भी न तो वहां हैंडपंप लगाया गया और न ही पानी की टंकी आदि बनाई गई जिसके कारण बोरिंग होने के बाद भी वहां के लोग गड्ढे का दूषित पानी पीने के लिये मजबूर हो गये हैं, बापदेवपाड़ा के पेयजल की किल्लत को दूर करने के लिये स्थानीय विधायक शांताराम मोरे की उपस्थिति में श्रमजीवी संगठन की हुई एक सभा में पंचायत समिति के अधिकारियों ने पेयजल के संकट को समाप्त करने का आश्वासन दिया था। लेकिन उस आश्वासन के बाद भी वहां के लोगों को गड्ढे का ही दूषित पानी पीने के लिये मिल रहा है।
गौरतलब हो कि भिवंडी पंचायत समिति के जलापूर्ति विभाग के अधिकारियों ने तालुका को पानी की किल्लत से मुक्त होने की रिपोर्ट सरकार को दिया है। जबकि जलापूर्ति विभाग की इस झूठी रिपोर्ट की पोल बापदेवपाड़ा ने खोल दिया है जिसके कारण जलापूर्ति विभाग के कार्यक्षमता पर सवालिया निशान लग गया है। श्रमजीवी संगठन की डॉ. स्वाती खान ने स्थानीय विधायक शांताराम मोरे,तहसीलदार शशिकांत गायकवाड़ एवं पंचायत समिति की सभापति रवीना जाधव की पेयजल से संबंधित निर्देशों को नजरअंदाज करने वाले जलापूर्ति विभाग के अधिकारियों के विरुद्ध कार्रवाई करने की मांग जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी हीरालाल जायसवाल से की है। श्रमजीवी संगठन के जिलाध्यक्ष अशोक साप्टे ने बताया कि पंचायत समिति के जलापूर्ति विभाग द्वारा इसी प्रकार विभिन्न क्षेत्रों में बोरिंग करने के बाद वहां हैंडपंप आदि नहीं लगाये गये हैं यदि वहां हैंडपंप नहीं लगाया जाता है तो तीव्र जनांदोलन किया जाएगा।
उक्त संदर्भ में गट विकास अधिकारी, पंचायत समिति, भिवंडी अशोक सोनटक्के ने बताया कि
बापदेवपाड़ा की पेयजल किल्ल्त को दूर करने का आदेश जलापूर्ति विभाग को दिया गया है आशा है कि जल्द ही वहां के पेयजल की समस्या दूर हो जाएगी।
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