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भिवंडी ( एम हुसेन ) भिवंडी - चिंचोटी महामार्ग की दुर्दशा होने के कारण सडक दुर्घटना के प्रमाण में बढ़ोतरी हुई है .रास्ता दुरुस्ती हेतु अनेकोबार ज्ञापन देकर मांं की गई है परंतु ठेकेदार व कंपनी निष्क्रियता का परिचय देते हुए आंखमचोली खेल रहे हैं। कंपनी व ठेकेदार की निष्क्रियता के चलते श्रमजीवी संघटना के कार्यकर्ताओं ने प्रदेश महासचिव बालाराम भोईर के मार्गदर्शशन में सैकडो कार्यकर्ताओं ने सोमवार दिनांक 17 अप्रैल को मालोडी टोल नका पर विरोध मोर्चा नििकालकर वसई - भिवंडी टोलवेज प्रा.लि.नामक ठेकेदार कंपनी के विरुद्ध जोरदार घोषणाबाजी करते हुए टोल नाका बंद करने की मांग की। भिवंडी - चिंचोटी रास्ते की दुरुस्ती व देखभाल का ठेका वसई भिवंडी टोलवेज कंपनी को दिया गया है .इस कंपनी के पास मालोडी स्थित निर्माण किए गए टोल नाका द्वारा लाखों रुपये की वसुली की जारही है .परंंतु रास्ते पर असंख्य बड़े बड़े खड्डे भरने के लिए दुर्लक्ष होने के पश्चात दुर्घटनाओं में दिनोदिन बढोतरी हो रही है .गरोदर माता, मरीज उपचार हेतु जाते समय काफी परेशानी उठानी पड़ती है .श्रमजीवी संघटनेा ने इससे पूर्व ३ २०१६ को आंदोलन किया था.उस समय ठेकेदार कंपनी ने एक महीने के भीतर रास्ता दुरुस्ती करने के लिए आश्वासन दििया था.परंतु उसके बाद भी



वर्ष पूरा हो गया फिर भी रास्ता दुरुस्ती के लिए दुर्लक्ष किया जारहा है जिसकारण श्रमजीवी संघटना के महासचिव बालाराम भोईर के मार्गदर्शन में श्रमजीवी ने मालोडी टोल नाका स्थित मोर्चा निकालकर टोल नाका बंद करने की मांग की है .उक्त अवसर पर आक्रोशित आंदोलनकारियों के उग्रस्वरूप वसई - भिवंडी टोलवेज प्रा.लि. कंपनी के व्यवस्थापक कुलदीप सिंह ने बरसात पूर्व संपूर्ण रास्ते की दुरुस्ती करने के लिए लिखित आश्वासन दिया। जिसके बाद आंदोलन स्थगित कर दिया गया है .इस आंदोलन में श्रमजीवी संघटना के जिला अध्यक्ष दत्तू कोलेकर ,कविता भगत ,भरत वतारी ,महिला जिला ठिणगी संघटना की अध्यक्षा संगीता भोमटे ,सचिव मोतीराम नामकुडा,अध्यक्षा सुनिता भावर ,आत्माराम ठाकरे ,गणेश उंबरसाडा,भानुदास जाधव ,संजय तांगडी ,जगदीश पाटिल ,हरिचंद्र पाटिल ,हितेंद्र पाटिल आदि सहित श्रमजीवी संघटना के कार्यकर्ता भारी संख्या में सहभागी थे .

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